इस बार अक्षय तृतीया पर बन रहे कई शुभ योग, सुख-समृद्धि में होगी बढ़ोतरी
नई दिल्ली: हिंदू पंचांग (Panchang) की मानें तो वैशाख महीने के शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को अक्षय तृतीया (Akshaya Tritiya 2021) के रूप में मनाया जाता है. कई जगहों पर इसे अखतीज या वैशाख तीज के नाम से भी जाना जाता है. इस साल अक्षय तृतीया का त्योहार 14 मई 2021 शुक्रवार को मनाजा जाएगा. ऐसी मान्यता है कि अक्षय तृतीया का दिन बेहद शुभ और पुण्य देने के साथ ही सौभाग्य और संपन्नता (Good fortune and wealth) प्रदान करने वाला होता है. इस साल अक्षय तृतीया पर कई विशेष संयोग बन रहे हैं जिस वजह से त्योहार का महत्व और भी अधिक हो गया है.
अक्षय तृतीया पर बन रहे कई शुभ योग
सबसे खास बात ये है कि इस साल अक्षय तृतीया का त्योहार 14 मई को मनाया जाएगा और यह दिन शुक्रवार (Friday) है. शुक्रवार का दिन धन की देवी मां लक्ष्मी (Goddess Lakshmi) का दिन माना जाता है और इस दिन अक्षय तृतीया का त्योहार पड़ना बेहद खास माना जा रहा है. इस दिन अक्षय तृतीया की विशेष पूजा के साथ ही महालक्ष्मी जी की भी पूजा की जाएगी जिससे यह दिन बेहद शुभ परिणाम देने वाला होगा. इसके अलावा इस दिन रोहिणी नक्षत्र (Rohini nakshatra) रहने वाला है और योग भी सुकर्मा है. अक्षय तृतीया के दिन चंद्रमा वृष राशि में होगा जहां पहले से शुक्र ग्रह मौजूद है और इन दोनों के एक साथ होने से लक्ष्मी योग (Lakshmi yoga) बनेगा. इसे धन समृद्धि बढ़ाने वाला योग माना गया है.
अक्षय तृतीया के हैं और भी कई महत्व
अधिकतर लोगों को लगता है अक्षय तृतीया का दिन सिर्फ सोने खरीदने के लिहाज से महत्वपूर्ण होता है. लेकिन ऐसा नहीं है क्योंकि इस दिन किया गया आपका कोई भी शुभ काम कभी क्षय नहीं होता और उसमें कई गुना बढ़ोतरी होती है. इसलिए इस दिन दान-पुण्य भी अवश्य करना चाहिए. इसके अलावा इस दिन का धार्मिक महत्व काफी अधिक है-
1. अक्षय तृतीया के दिन परशुराम जयंती (Parshuram jayanti) मनायी जाती है. ऐसी मान्यता है कि भगवान विष्णु के छठे अवतार माने जाने वाले परशुराम का जन्म इसी दिन हुआ था. इस दिन भगवान विष्णु के साथ ही परशुराम जी की भी पूजा की जाती है.
2. अक्षय तृतीया के दिन ही मां अन्नपूर्णा का जन्मदिवस (Maa annapurna) भी मनाया जाता है और ऐसी मान्यता है कि इस दिन मां अन्नपूर्णा की भी पूजा करनी चाहिए जिससे घर में अन्न का भंडार हमेशा भरा रहता है.
3. धार्मिक मान्यातओं के अनुसार इसी दिन भगवान शिव ने भगवान कुबेर को माता लक्ष्मी (Kuber worshipped Goddess Lakshmi) की पूजा अर्चना करने को कहा था, इसलिए अक्षय तृतीया के दिन देवी लक्ष्मी की पूजा की जाती है जिससे धन-धान्य में बढ़ोतरी होती है.