पाकिस्तान को बड़ा झटका, FATF की ग्रे लिस्ट में ही रहेगा
इस्लामाबाद: पाकिस्तान को शुक्रवार को बड़ा झटका लगा है। फाइनैंशल ऐक्शन टास्क फोर्स (एफएटीएफ) की बैठक में फैसला किया गया है कि पाकिस्तान अभी ग्रे लिस्ट में रहेगा। पाकिस्तान को लेकर कहा गया है कि उसे एफएटीएफ की 17 अक्टूबर से 22 अक्टूबर के बीच होने वाली अगली बैठक से पहले एक्शन प्लान में बताए सभी पॉइंट्स को पूरा करने के लिए काम करना पड़ेगा।
एफएटीएफ की रिपोर्ट के मुताबिक पाकिस्तान ने 27 कार्यबिंदुओं में से अबतक केवल 26 को ही पूरा किया है। पाकिस्तान को एफएटीएफ के बाकी बचे एक बिंदु को लागू करने के लिए कम से कम दो से तीन महीने और लगेंगे।
पाकिस्तान बीते तीन साल से इसकी ग्रे लिस्ट में बना हुआ है। इसका मतलब ये है कि पाकिस्तान में पैसे का इस्तेमाल आतंकियों की फंडिंग के लिए किया जाता है। किसी देश के ग्रे लिस्ट में शामिल होने से उसके विदेशी निवेश के प्रवाह पर प्रभाव पड़ता है, जिससे उस देश की अर्थव्यवस्था को नुकसान पहुंचना लाजमी है।
इससे पहले विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने आरोप लगाया था कि पूर्ववर्ती सरकारों ने देश में धनशोधन और आतंकियों की फंडिंग पर रोक लगाने के लिए कदम नहीं उठाए। कुरैशी ने कहा कि पूर्व की पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) सरकार एफएटीएफ की ग्रे सूची में देश को रखे जाने के लिए जिम्मेदार है।
एफएटीएफ द्वारा निर्धारित सख्त शर्तों के लिए पीएमएल-एन को जिम्मेदार ठहराते हुए उन्होंने कहा कि पहले की किसी भी सरकार ने धनशोधन और आतंकवाद के लिए धन मुहैया कराने पर रोक लगाने के लिए कदम नहीं उठाए। मंत्री ने कहा कि इन स्थितियों में राष्ट्रों को दबाव का सामना करना पड़ा है इसलिए हमें भी इस दबाव को झेलना होगा।