प्रधानमंत्री मोदी ने 2 कृषि विधेयक पारित होने को बताया ऐतिहासिक क्षण, कहा- हम यहां अपने किसानों की सेवा के लिए हैं
नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को कहा कि संसद द्वारा दो कृषि विधेयकों को पारित किये जाने के बाद प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि यह भारतीय कृषि इतिहास के लिये ऐतिहासिक क्षण है। ये (कृषि) विधेयक क्षेत्र में पूर्ण बदलाव सुनिश्चित करेंगे और करोड़ों किसानों को सशक्त बनाएंगे। प्रधानमंत्री ने कहा कि दशकों तक बिचौलियों द्वारा किसानों को विवश रखा गया और तंग किया जाता रहा, संसद द्वारा पारित विधेयक उन्हें मुक्ति दिलाएगा।
पीएम मोदी ने कहा कि ये (कृषि) विधेयक किसानों की आय दोगुनी करने के प्रयासों को गति देंगे और उनकी ज्यादा समृद्धि सुनिश्चित करेंगे। उन्होनें कहा कि कृषि क्षेत्र को नवीनतम प्रौद्योगिकी की नितांत आवश्यकता है, किसानों तक उसकी पहुंच अब सुगम होगी, जिससे उत्पादन बढ़ेगा। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि मैं फिर दोहराना चाहूंगा कि न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) और सरकारी खरीद की व्यवस्था जारी रहेगी।प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि मैं पहले भी कह चुका हूं और एक बार फिर कहता हूं कि किसानों को मिनिमम सपोर्ट प्राइस की व्यवस्था जारी रहेगी। सरकार की अनाज की खरीद जारी रहेगी। प्रधानमंत्री ने कहा कि हम यहां अपने किसानों की सेवा के लिए हैं। हम उनका समर्थन करने और उनकी आने वाली पीढ़ियों के लिए बेहतर जीवन सुनिश्चित करने के लिए हर संभव प्रयास करेंगे।
राज्यसभा में विपक्ष के लगातार विरोध के बीच कृषक उपज व्यापार और वाणिज्य (संवर्धन और सरलीकरण) विधेयक 2020 और कृषक (सशक्तिकरण और संरक्षण) कीमत आश्वासन एंव कृषि सेवा पर करार विधेयक 2020 पारित किए गए। इन विधेयकों को लेकर केंद्र सरकार का दावा है कि नए नियमों से देश के कृषि क्षेत्र की काया पलट जाएगी, किसानों को लाभ होगा और देश का कृषि क्षेत्र तेजी से विकसित होगा।
वहीं, विपक्ष आरोप लगा रहा है कि इससे देश का कृषि क्षेत्र तबाह हो जाएगा, किसानों को नुकसान होगा और देश में न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) की व्यवस्था खत्म हो जाएगी। बात अगर न्यूनतम समर्थन मूल्य की की जाए तो सरकार साफ कह चुकी है कि न्यूनतम समर्थन मूल्य की व्यवस्था समाप्त नहीं होगी बल्कि और मजबूत की जाएगी।
सरकार की तरफ से अपने कार्यकाल में बढ़ाए गए समर्थन मूल्य और किसानों से फसल खरीद के बाद किए गए भुगतान के आंकड़े भी जारी किए गए हैं।सरकार की ओर से कहा गया है कि उनके कार्यकाल में किसानों से MSP पर ज्यादा मात्रा में उपज की खरीद हुई है और MSP में भी पहले के मुकाबले ज्यादा बढ़ोतरी हुई है।