शरद पवार का बड़ा ऐलान, वापस लिया इस्तीफा, एनसीपी अध्यक्ष पद पर कायम रहेंगे
Mumbai: शरद पवार ने आज अपना इस्तीफा वापस लेने का ऐलान किया. अपनी प्रेस कॉन्फ्रेंस में उन्होंने कहा . कि मैंने दो मई को एनसीपी के अध्यक्ष पद से इस्तीफा देने का ऐलान किया था. राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के असंख्य कार्यकर्ता, पदाधिकारियों ने अपनी तीव्र भावनाएं व्यक्त कीं. मेरे शुभचिंतकों ने मुझसे अपने फैसले पर फिर से विचार करने की अपील की. देश भर से लोग मुझसे इस्तीफा वापस लेने की अपील कर रहे थे. मेरी तरफ से उन भावनाओं का अनादर नहीं किया जा सकता.आपके प्रेम और विश्वास से मैं अभिभूत हुआ हूं. मैं अपना इस्तीफा वापस ले रहा हूं.
लेकिन अपने फैसले का ऐलान करते हुए शरद पवार ने यह भी कहा कि वे इस फैसले पर कायम हैं कि मेरा कोई ना कोई उत्तराधिकारी हो. मैं नए नेतृत्व पर बल देना चाहता हूं. इसके बाद मैं और उत्साह से काम कर पाऊंगा. आज जब शरद पवार अपना फैसला सुना रहे थे तब उनके साथ रोहित पवार खड़े थे, प्रफुल्ल पटेल दिखाई दे रहे थे, लेकिन अजित पवार आज दिखाई नहीं दिए.
पत्रकारों ने शरद पवार से अजित पवार को लेकर सवाल भी किया. यह पूछा गया कि जब वे पद छोड़ने का ऐलान किया था तब अजित पवार इसी वाई.बी.सेंटर में मौजूद थे, आज जब वे इस्तीफा वापस ले रहे हैं तो वो कहां हैं? इस पर शरद पवार ने कहा कि यहां कौन मौजूद है और कौन नहीं, इसका कोई अलग मतलब ना निकालें.
शरद पवार ने उस सवाल का भी जवाब दिया कि उन्होंने रोटी पलटने का जो भाषण दिया था क्या वो उनके इस्तीफे से जुड़ा था? अब जब उन्होंने इस्तीफा वापस ले लिया तो उस रोटी का क्या हुआ? इस पर शरद पवार ने कहा कि, ‘मैंने रोटी पलटने की बात जरूर की थी, लेकिन अब वो रोटी ही रुक गई है.’
शरद पवार ने विपक्षी गठबंधन की एकता और खास कर महाविकास आघाड़ी के भविष्य पर भी बयान दिया. उन्होंने कहा कि महाविकास आघाड़ी बनी रहेगी. पहले से ज्यादा मजबूत होगी. इसकी एकता पर कोई असर नहीं पड़ेगा.
शरद पवार से जब यह पूछा गया कि लगातार एनसीपी में फूट की खबरें सामने आ रही हैं. कहा जा रहा है कि कुछ लोग एनसीपी छोड़ने का मन बना रहे हैं. इस पर शरद पवार ने कहा कि, ‘कोई जाना चाहे तो मैं उसे रोक नहीं सकता.लेकिन जब ऐसे हालात पैदा होते हैं तो नेतृत्व को और आगे से कमान संभालनी पड़ती है. काम करने का अवसर कई लोग पाना चाहते हैं. सबको विश्वास में लेकर इन सब बारे में फैसला लेना पड़ता है.’