बीजेपी ने कांग्रेस पर साधा निशाना, हैदराबाद के लिए रवाना हुए सिद्धारमैया
कर्नाटक गवर्नर द्वारा बीजेपी को सरकार बनाने के आमंत्रण के खिलाफ कांग्रेस-जेडीएस की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने फैसला सुना दिया है. सबी पक्षों की दलीलें सुनने के बाद कोर्ट ने कल शाम 4 बजे फ्लोर टेस्ट कराने का आदेश दिया है. सीनियर वकील मुकुल रोहतगी ने बीएस येदियुरप्पा द्वारा गवर्नर को दिया गया लेटर सुप्रीम कोर्ट के सामने पेश किया. इस लेटर में येदियुरप्पा ने विधायकों के समर्थन का दावा किया था. हालांकि, कोर्ट में पेश बीजेपी के लेटर में विधायकों के दस्तखत नहीं थे, जबकि कांग्रेस ने विधायकों के दस्तखत वाला लेटर सौंपा. बता दें कि कर्नाटक में सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी बीजेपी के नेता बीएस येदियुरप्पा ने विवादों के बीच गुरुवार को मुख्यमंत्री पद की शपथ ली. राज्यपाल वजुभाई वाला ने बहुमत वाले कांग्रेस-जेडीएस गठबंधन को सरकार बनाने के लिए आमंत्रित नहीं किया, जिसे लेकर दोनों पार्टियां नाराज़ हैं. कांग्रेस ने राज्यपाल के फैसले को लोकतंत्र की हत्या बताया है. इस बीच खरीद-फरोख्त की आशंकाओं को देखते हुए कांग्रेस और जेडी-एस ने अपने सभी विधायकों को हैदराबाद भेज दिया है.
इससे पहले येदियुरप्पा को शपथ लेने से रोकने के लिए कांग्रेस और जेडीएस ने बुधवार रात सुप्रीम कोर्ट में याचिका लगाई थी और तुरंत सुनवाई की अपील की थी. मामले की सुनवाई के लिए आधी रात के बाद कोर्ट खुला था. जस्टिस एके सीकरी, जस्टिस अशोक भूषण और जस्टिस बोबड़े की बेंच ने सुनवाई के दौरान कहा कि वे येदियुरप्पा के शपथ ग्रहण को रोक नहीं सकते हैं. हालांकि जजों ने सरकार बनाने के दावे के लिये येदियुरप्पा ने राज्यपाल को जो चिट्ठी लिखी थी उसे मंगाया है. शुक्रवार को इस चिट्ठी के आधार पर सुनवाई होगी.