विपक्ष के हंगामे की वजह से लोकसभा और राज्यसभा की कार्यवाही स्थगित
नई दिल्ली. केंद्र सरकार आज से शुरू हुए संसद के मानसून सत्र के दौरान कई विधेयकों को पारित कराने के एजेंडे को पूरा करने की कोशिश करेगी। वहीं, विपक्ष भी कोविड-19 की दूसरी लहर से निपटने के तरीके, ईंधन की कीमतों में वृद्धि और किसान आंदोलन के मुद्दे पर सरकार को घेरने की तैयारी कर रहा है। रविवार को संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को सर्वदलीय बैठक में कहा कि सरकार संसद में विभिन्न मुद्दों पर उपयोगी चर्चा करने के पक्ष में है।
संसद का मानसून सत्र परिणामकारी हो- पीएम
उन्होंने कहा, ‘‘कोरोना ऐसी महामारी है जिसकी चपेट में पूरा विश्व और मानव जाति है। हम चाहते हैं कि इस संदर्भ में संसद में सार्थक चर्चा हो ओर प्राथमिकता के आधार पर हो। सारे सांसद का सुझाव भी मिले। इससे कोरोना के खिलाफ लड़ाई में बहुत नयापन भी आ सकता है ओर यदि कमियां रह गई हो तो उन्हें ठीक भी किया जा सकता है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘संसद का यह सत्र परिणामकारी हो और सार्थक चर्चा के लिए समर्पित हो। जनता जवाब चाहती है और सरकार की भी जवाब देने की तैयारी है।’’
सोनिया ने पार्टी सांसदों को दिया ये निर्देश
कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने रविवार को पार्टी के लोकसभा सांसदों की बैठक की अध्यक्षता की, जिसमें किसान आंदोलन, पेट्रोल और डीजल के बढ़ते दामों तथा कोविड-19के ‘‘खराब प्रबंधन’’जैसे मुद्दों को जोर शोर से संसद में उठाने का निर्णय लिया। कांग्रेस प्रमुख ने लोकसभा सांसदों के साथ ऑनलाइन आयोजित बैठक की अध्यक्षता करते हुए इन मुद्दों को मजबूती के साथ उठाने और सरकार को संसद में घेरने की सदस्यों से अपील की। उन्होंने कहा कि ये मुद्दे आम आदमी से जुड़े हैं,जो सरकार की नीतियों के कारण परेशानियों का सामना कर रहे हैं।