महंत नरेंद्र गिरि को दी गई भू-समाधि

प्रयागराज: प्रयागराज में महंत नरेंद्र गिरि को आज भू-समाधि दे दी गई। जिस मठ में रहकर महंत नरेंद्र गिरि पूरी दुनिया में प्रसिद्ध हुए उसी बाघम्बरी मठ में नरेंद्र गिरि को भू-समाधि दी गई। निरंजनी अखाड़े के विधि-विधान से मठ के सैकड़ों साधुओं ने महंत नरेंद्र गिरि को अंतिम विदाई दी। उनके पार्थिव शरीर को समाधि के लिए खोदे गए बड़े गड्ढे में रखा गया और फिर पुष्प वर्षा के बीच उन्हें भू-समाधि दी गई। इस बीच महंत नरेंद्र गिरि ने आत्महत्या की या उनकी हत्या हुई इसे लेकर नया विवाद शुरू हो गया है। निरंजनी अखाड़े के आचार्य कैलाशानंद ने कहा है कि महंत नरेंद्र गिरि की हत्या की गई है और जिस सुसाइड नोट की बात हो रही है वो साजिश नोट है। उन्होंने कहा कि नरेंद्र गिरि बहुत ज्यादा पढ़े-लिखे नहीं थे और काफी मुश्किल से दस्तखत कर पाते थे। ऐसे में ये नरेंद्र गिरि का सुसाइड नोट नहीं हो सकता।

वहीं SIT ने नरेंद्र गिरि को आत्महत्या के लिए उकसाने के आरोप में गिरफ्तार आनंद गिरि से लगातार 12 घंटे पूछताछ की है। पुलिस ने आनंद गिरि और आद्या तिवारी को आमने-सामने बिठाकर पूछताछ की। आनंद गिरि को पुलिस ने सुसाइड नोट भी दिखाया। पुलिस ने आनंद से नरेंद्र गिरि की हैंड राइटिंग पहचानने को कहा। पूछताछ के दौरान आनंद बार-बार कहता रहा ये हत्या है।

आनंद गिरि और नरेंद्र गिरि के बीच मठ के उतराधिकार को लेकर विवाद पर भी सवाल जवाब हुए, जिसमें आनंद गिरि ने बताया कि महंत जी के कहने के बाद जब तक उन्होंने मुझे माफ़ नहीं कर दिया श्री बड़े हनुमान जी के मंदिर नहीं गया। आनंद गिरि ने कबूल किया कि हाल में मेरा महंत जी से कोई विवाद नहीं था, महंत जी मुझे कभी परेशान भी नहीं लगे।महंत नरेंद्र गिरि से ब्लैकमेलिंग के सवाल पर आनंद गिरि ने बताया कि मुझे फंसाया जा रहा है, ये मेरे खिलाफ बड़ी साजिश है।

महंत आनंद गिरि, अध्या तिवारी और उसके बेटे संदीप तिवारी तीनों से एक साथ भी मंदिर के चंदे में गड़बड़ को लेकर आमने सामने बैठा कर पूछताछ की गई। अध्या तिवारी और उसके बेटे संदीप ने पुलिस को बताया कि महंत जी से उनका कोई विवाद नहीं हुआ, वो काफी लंबे वक्त से मंदिर के पुजारी है और गुरु जी मुझ पर बहुत विश्वास करते थे। एक हफ्ते पहले हुए झगड़े पर अध्या तिवारी और उसके बेटे ने बताया कि महंत जी ने हेराफेरी की बात बोली जरूर थी लेकिन बाद में जब हमने उन्हें सच्चाई बताई तो वो मान गए थे, कोई नाराजगी नहीं थी।

SIT ने नरेंद्र गिरी की सुरक्षा में तैनात 4 गनर्स से भी पूछताछ की है। गनर अजय सिंह, मनीष शुक्ला, अभिषेक मिश्रा और विवेक मिश्रा से पुलिस लाइन में पूछताछ की गई है। पुलिस ये पता कर रही है कि जब नरेंद्र गिरि की मौत हुई तब गनर समेत तमाम सुरक्षाकर्मी कहां थे। सूत्रों के अनुसार पूछताछ के दौरान 3 सरकारी गनरों की लापरवाही सामने आई है।

इस बीच महंत नरेंद्र गिरि की शुरुआती पोस्टमार्टम रिपोर्ट सामने आई है। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में कहा है कि मौत की वजह फांसी बताई जा रही है, दम घुटने से नरेंद्र गिरि की मौत हुई है। शुरुआती रिपोर्ट में आत्महत्या की ओर इशारा लग रहा है। डॉक्टरों की पांच सदस्यीय टीम ने महंत का पोस्टमार्टम किया है। उनके विसरा को सुरक्षित रख लिया गया है। डॉक्टरों के पैनल ने पोस्टमार्टम रिपोर्ट पुलिस के उच्च अधिकारियों को सौंप दी है। पोस्टमार्टम वाली जगह सुबह से ही छावनी में तब्दील रही और किसी भी मीडियाकर्मी को भीतर जाने की अनुमति नहीं दी गई।

 

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