लेखक सलमान रुश्दी वेंटिलेटर पर, बोलने में असमर्थ, एक आंख खराब होने की आशंका
जाने-माने लेखक सलमान रुश्दी पर न्यूयॉर्क में हमला होने के बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती किया गया। हमलावर द्वारा उनकी गर्दन और पेट में छुरा घोंपने के बाद उनकी कई घंटों तक सर्जरी करने के बाद वे वेंटिलेटर पर हैं। समाचार एजेंसी रायटर के मुताबिक सलमान के बुक एजेंट के हवाले से खबर है कि हमले के बाद उनकी एक आंख की रोशनी जा सकती है। उधर, न्यूयॉर्क पुलिस ने सलमान रुश्दी पर हमला करने वाले संदिग्ध की पहचान कर ली है। न्यूयॉर्क पुलिस ने बताया कि हमलावर का नाम हादी मटर है और वो अमेरिका में फेयरव्यू,न्यू जर्सी का रहने वाला है। हालांकि हमलावर ने किस उद्देश्य से हमला किया, इसके कारण का पता अभी तक नहीं चल सका है। सलमान रुश्दी पर हुए हमले के बाद उनका इलाज करने वाले चिकित्सक ने कहा कि रुश्दी के शरीर पर चाकू के हमले के कई निशान थे जिनमें से एक उनकी गर्दन के दाहिनी ओर था और वह खून से लथपथ पड़े हुए थे। अमेरिका के प्रतिष्ठित समाचारपत्र न्यूयॉर्क टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक रुश्दी जिस कार्यक्रम में संबोधित करने वाले थे वहां मौजूद एंडोक्रिनोलॉजिस्ट रीटा लैंडमैन ने मंच पर जाकर रुश्दी का प्राथमिक उपचार किया।पुलिस ने बताया कि घंटों तक सर्जरी के बाद रश्दी वेंटिलेटर पर हैं और बोलने में असमर्थ हैं। इसी बीच दुनियाभर के लेखकों और राजनेताओं द्वारा उन पर हमले की निंदा की गई है। रुश्दी के बुक एजेंट एंड्रयू वायली ने अपने एक ई-मेल संदेश में कहा कि ‘खबर अच्छी नहीं है, सलमान की एक आंख खोने की आशंका है। उनकी बांह की नसें भी टूट गई थीं।अमेरिका के न्यूयॉर्क में शुक्रवार को एक कार्यक्रम के दौरान अंग्रेजी भाषा के जानेमाने लेखक सलमान रुश्दी पर एक शख्स ने हमला कर दिया था। समाचार एजेंसी एसोसिएटेड प्रेस (AP) के एक संवाददाता के मुताबिक पश्चिमी न्यूयॉर्क के चौटाउक्का संस्थान में एक कार्यक्रम के दौरान सलमान रुश्दी अपना लेक्चर शुरू ही करने वाले थे कि तभी एक शख्स मंच पर चढ़ा और रुश्दी को घूंसे मारे और चाकू से हमला कर दिया। अचानक हुए इस हमले से लेखक जमीन पर गिर गए। जैसे हमलावर ने सलमान रुश्दी पर मंच पर चढ़कर हमला किया, वहां मौजूद सुरक्षाकर्मियों ने शख्स को नियंत्रित कर उसे हिरासत में ले लिया गया। बता दें कि रुश्दी की विवादित किताब ‘द सैटेनिक वर्सेज’ ईरान में 1988 से प्रतिबंधित है। कई मुसलमानों का मानना है कि रुश्दी ने इस पुस्तक के जरिए ईशनिंदा की है। न्यूयार्क पुलिस ने कहा कि सलमान रुश्दी पर मंच पर हुए हमले में उनकी गर्दन पर चोट आई है। पुलिस ने बताया कि उन्हें हेलीकॉप्टर से ले जाकर अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
रुश्दी की सजा-ए-मौत का फतवा किया था जारी
इतना ही नहीं रुश्दी की विवादित किताब द सैटेनिक वर्सेज को लेकर ईरान के तत्कालीन सर्वोच्च धार्मिक नेता अयातुल्ला रूहोल्लाह खमनेई ने रुश्दी को मौत की सजा दिए जाने का फतवा जारी किया था। रुश्दी की हत्या करने वाले को 30 लाख अमेरिकी डॉलर से अधिक का इनाम देने की भी पेशकश की गई। उनके खिलाफ कई इस्लामिक नेताओं ने फतवा जारी किया हुआ है। ईरान की सरकार लंबे समय से खमनेई के फरमान से दूरी बनाए हुए है, लेकिन लोगों में रुश्दी विरोधी भावना बनी हुई है।
भारतीय मूल के लेखक रश्दी को मिल चुका है बुकर पुरस्कार
सलमान रुश्दी का जन्म मुंबई में हुआ था। ‘द सैटेनिक वर्सेस’ और ‘मिडनाइट्स चिल्ड्रेन’ जैसी किताबें लिख कर चर्चा में आए रुश्दी को बुकर पुरस्कार से सम्मानित किया जा चुका है। 75 साल के सलमान रुश्दी ने अपनी किताबों से दुनिया भर में ख्याती प्राप्त की है। अपने दूसरे ही उपन्यास ‘मिडनाइट्स चिल्ड्रेन’ के लिए 1981 में ‘बुकर प्राइज’ और 1983 में ‘बेस्ट ऑफ द बुकर्स’ पुरस्कार से सम्मानित किए गए हैं। रुश्दी ने लेखक के तौर पर शुरुआत 1975 में अपनी पहली नॉवेल ‘ग्राइमस’ के साथ की थी।