PM चुने जाने के बाद इमरान बोले, देश को लूटने वालों पर होगी कार्रवाई
इस्लामाबाद। पाकिस्तानी संसद के निचले सदन नेशनल असेंबली में हुए एकतरफा चुनाव में आज पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) के प्रमुख इमरान खान को देश का नया प्रधानमंत्री चुना गया। इमरान ने इस मुकाबले में पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) के प्रमुख शाहबाज शरीफ को मात दी। बिलावल भुट्टो जरदारी की अगुवाई वाली पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी), जिसके पास 54 सीटें हैं, के मतदान में हिस्सा नहीं लेने के फैसले के बाद 15वीं नेशनल असेंबली में चुनाव महज एक औपचारिकता रह गई थी। शरीफ की उम्मीदवारी को लेकर पीपीपी और पीएमएल-एन के बीच मतभेद उभर आए थे।
नेशनल असेंबली के स्पीकर असद कैसर ने ऐलान किया कि क्रिकेटर से नेता बने 65 वर्षीय इमरान को 176 वोट मिले जबकि उनके एकमात्र प्रतिद्वंद्वी और पीएमएल-एन के प्रमुख शाहबाज शरीफ को 96 वोट मिले। नतीजों की घोषणा के बाद पीएमएल-एन के सांसदों ने इमरान के खिलाफ नारे लगाए और सदन में विरोध प्रदर्शन किया। जेल में बंद पूर्व प्रधनमंत्री नवाज शरीफ की तस्वीरें हाथ में लिए प्रदर्शन कर रहे पीएमएल-एन के समर्थकों ने ‘‘वोट को इज्जत दो’’ के नारे लगाए।
स्पीकर कैसर जब सदन को सुचारू रूप से चलाने की कोशिश कर रहे थे, तब भी पीएमएल-एन के सांसद नारेबाजी कर रहे थे। इसके बाद स्पीकर ने 15 मिनट के लिए कार्यवाही निलंबित कर दी। जब कार्यवाही बहाल हुई तो स्पीकर ने भावी प्रधानमंत्री इमरान से सदन को संबोधित करने के लिए कहा। संसद में अपने पहले संबोधन में इमरान ने ‘‘पाकिस्तान को लूटने वालों’’ के खिलाफ कार्रवाई का इरादा जाहिर किया।
उन्होंने कहा, ‘मैं आज अपने वतन से वादा करता हूं कि हम वह तब्दीली लाएंगे जिसके लिए यह मुल्क लंबे समय से कोशिश करता रहा है।’ इमरान ने कहा, ‘हमें इस देश में सख्त जवाबदेही कायम करनी है। मैं वादा करता हूं कि मैं पाकिस्तान को लूटने वालों के खिलाफ कार्रवाई करूंगा। जिस काले धन को सफेद किया गया, मैं उसे वापस लाऊंगा। जो पैसे शिक्षा, स्वास्थ्य और पानी पर खर्च होने चाहिए थे, वे लोगों की जेब में चले गए।’
उन्होंने कहा कि वह ऐसी चुनाव प्रणाली बनाएंगे जिससे कोई भी व्यक्ति भविष्य में चुनावों में खामियां नहीं तलाश पाएगा। लेकिन, कोई मुझे ब्लैकमेल करने की कोशिश नहीं करे। साल 1996 में पीटीआई की स्थापना करने वाले पश्तून ने कहा कि वह 22 सालों के संघर्ष के बाद इस मुकाम पर पहुंचे हैं। इमरान ने कहा, ‘मैं किसी तानाशाह के कंधों पर चढ़कर नहीं आया; मैं 22 सालों के संघर्ष के बाद इस मुकाम पर पहुंचा हूं। सिर्फ एक नेता ने मुझसे ज्यादा संघर्ष किया और वह मेरे हीरो (पाकिस्तान के संस्थापक मोहम्मद अली) जिन्ना थे।’
भ्रष्टाचार के मामले में दोषी करार दिए गए नवाज शरीफ की तरफ परोक्ष इशारा करते हुए इमरान ने कहा कि वह किसी ‘‘डकैत’’ के प्रति कोई नरमी नहीं बरतेंगे। शाहबाज शरीफ ने अपने संबोधन में कहा कि पीटीआई की जीत सुनिश्चित करने के लिए चुनावों में धांधली की गई। उन्होंने संसद से इन चुनावों की निष्पक्ष जांच करने की मांग की। उन्होंने कहा, ‘मैं मांग करता हूं कि धांधली की जांच के लिए एक स्थायी आयोग का गठन किया जाए।’
शाहबाज ने चेताया कि यदि सरकार ने चुनावों में धोखाधड़ी की जांच नहीं की तो वह प्रदर्शन शुरू करेंगे। उन्होंने यह भी कहा कि उनके बड़े भाई नवाज शरीफ को गलत तरीके से दोषी करार देकर अयोग्य किया गया है। इमरान कल पाकिस्तान के 22वें प्रधानमंत्री के तौर पर शपथ लेंगे। सरकार बनाने के लिए नेशनल असेंबली, जिसमें 342 सदस्य हैं, में कुल 172 वोटों की जरूरत होती है। इससे पहले, अलग-अलग उम्मीदवारों के लिए बनाई गई अलग-अलग दीर्घा में सदस्यों के मत विभाजन के जरिए खुले में वोटिंग हुई। पीपीपी के सांसद वोटिंग प्रक्रिया के दौरान बैठे रहे। जमात-ए-इस्लामी ने वोटिंग में हिस्सा नहीं लिया।
सूत्रों ने बताया कि शरीफ के पक्ष में वोट के लिए पीपीपी को मनाने की आखिरी कोशिश करते हुए पीएमएल-एन के वरिष्ठ नेता एवं पूर्व स्पीकर अयाज सादिक पीपीपी प्रमुख बिलावल की सीट तक गए और अनुरोध किया कि वह वोटिंग से दूर रहने के अपने फैसले को बदलें। खुद शरीफ ने भी बिलावल को मनाने की कोशिश की। लेकिन बिलावल वोटिंग से दूर रहने के फैसले पर डटे रहे।