रोजगार मेला: सेफगार्ड बनाम रेटकार्ड
पूनम श्रीवास्तव
छठा रोजगार मेला बहुत बड़ी उम्मीदों औरआशाओं को पूरा करने के साथ सम्पन्न हुआ।इस रोजगार मेले में 71 हजार 126 युवाओं को नियुक्ति पत्र बांटे। यह कार्यक्रम 20 से भी ज्यादा राज्यों में करीब 43 जगहों परआयोजित किया गया।प्रधानमंत्री वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए इस कार्यक्रम से जुड़े।प्रधानमंत्री ने 22 अक्टूबर 2022 को पहला रोजगार मेला शुरू किया थाऔर देश के युवाओं के सामने 2023 के अंत तक10 लाख सरकारी नौकरियां देने का लक्ष्य रखा था।मोदीजी 8 महीने के दौरान 6 मेलों मेंअब तक 4 लाख 33 हजार से ज्यादा लोगों को जॉइनिंग लेटर दे चुके हैं, साथ ही उन्होंने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए यह भी कहा किआजादी के अमृतकाल में जिन युवाओं को नौकरी मिली है, अगले 25 साल में इन लोगों को विकसित भारत के सपने को साकार करना है।प्रधानमंत्री ने इशारों में विपक्षी पार्टियों पर निशाना साधते हुए स्पष्ट रूप से उन्हें परिवारवादी, भाई-भतीजावाद, भ्रष्टाचार, रेटकार्ड,और देश के नौजवानोंको लूटने वाली पार्टियां बताया।जबकिभाजपा युवाओं के भविष्य को सेफगार्ड करने का काम कर रही है। जहां एक ओर विपक्षी पार्टियां‘रेटकार्ड’ से युवाओं के सपनों कोचूर-चूर कर देते हैं, वहीं दूसरीओर सरकार युवाओं के संकल्पों, सपनों एवं परिवार की सभी इच्छाओंऔरआकांक्षाओं को ‘सेफगार्ड’ करने में लगी है।
इस बात से इन्कार नहीं किया जा सकता कि एक दशक पहले की तुलना मेंआज देश पहले से ज्यादा स्थिर, सुरक्षितऔर मजबूत है। राजनीतिक भ्रष्टाचार, योजनाओं में गड़बड़ीऔर जनता के धन का दुरुपयोग पुरानी सरकारों की पहचान बन गई थी,आज भारत सरकार की पहचान उसके निर्णायक फैसलों से होती है।उसकेआर्थिकऔर प्रगतिशील सामाजिक सुधारों से हो रही है। देश कीअर्थव्यवस्था पर अब दुनिया भरोसा करती है इतना ही नहींआज पूरी दुनिया हमारी विकास यात्रा में साथ चलने को तत्पर है।भारत को लेकर विश्वास और हमारीअर्थव्यवस्था पर इतना भरोसा पहले कभी नहीं रहा।तमाम कठिनाइयों के बावजूद भारतअपनीअर्थव्यवस्था को नई ऊंचाइयों पर ले जा रहा है।विश्व की बड़ी-बड़ी कंपनियां उत्पादन के लिए भारत आ रही हैं।आज भारत का विदेशी मुद्रा भंडार रिकॉर्ड स्तर पर है।हमारी युवापीढ़ीअब दूसरों को नौकरी दे रही है।आज भारत में निजीऔर सरकारी सेक्टर दोनों ही जगह नौकरियों के निरंतर नए मौके बन रहे हैं। बहुत बड़ी संख्या में हमारे युवा स्वरोजगार के लिए भी आगे आ रहे हैं।स्टार्टअप इंडियाऔर स्टैंड-अपइंडिया जैसी योजनाओं ने भारत के युवाओं की क्षमताओं को बढ़ाया है।गारंटी के बिना बैंक से लोन दिलाने वाली मुद्रा योजना ने करोड़ो युवाओं की मदद की है।सरकार से मदद पाने वाले नौजवान अब खुदअनेक युवाओं को नौकरी दे रहे हैं। राष्ट्रीय स्तर पर होने वाले ये रोजगार मेले भाजपा सरकार की नई पहचान बन गए हैं।भाजपा के शासन वाली राज्य सरकारें लगातार इस तरह के रोजगार मेले आयोजित कर रही हैं।
रोजगार मेले का आरंभ भारत सरकार ने देश के बेरोजगार नागरिकों को रोजगार उपलब्ध कराने के लिए किया।इस मेले के माध्यम से बेरोजगार युवाओं को रोजगार प्राप्त कराया जाता है।मेले काआयोजन बेरोजगारअभ्यर्थियोंऔर नियोजको को एक ही स्थान परआमंत्रित कर रोजगार मुहैया कराया जाता है।केंद्र की सरकारअपने विभिन्न मंत्रालयों में नौकरी की रिक्तियों को भरने के लिए मिशन मोड मेंकाम कर रही है।प्रत्येक मंत्रालय में नियुक्तियोंऔर रिक्तियों को भरने की निगरानी स्वयं केंद्रीय मंत्रियों द्वारा की जा रही है।मेलों मेंअब तक की गई नियुक्तियों में केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल के कर्मी, निरीक्षक, उप-निरीक्षक, कॉन्स्टेबल, क्लर्क, आशुलिपिक, निजीसहायक, आयकर निरीक्षक, करसहायक, कनिष्ठअभियंता, लोकोपायलट, तकनीशियन, डाकसहायक, सहायकप्रोफेसर, शिक्षकऔर पुस्तकालयाध्यक्ष आदि शामिल हैं।
नियुक्ति पत्र पानेवाले युवाओं मेंज्यादातर बहुत ही सामान्य परिवार के हैंऔर इनमें कई ऐसे युवा हैं, जो पांच पीढ़ियों में सरकारी नौकरी पाने वाले वाले परिवार के पहले सदस्य हैं।मोदी ने अपने वक्तव्य में कहा किआज भर्ती प्रक्रिया में जो पारदर्शिताऔररफ्तार देखने को मिल रही है, वह सरकार के हर काम में भी दिख रही है,एक समय था, जब नियमित तौर पर होने वाली पदोन्नति में भीअलग-अलग वजहों सेअड़चनेंआ जाती थीं,हमारी सरकार ने अलग-अलग विवादों का निपटारा किया,कोर्ट-कचहरी के कारण लंबे समय से रुकी हुई पदोन्नतियों को बहाल करने की प्रतिबद्धता दिखाई।प्रधानमंत्री ने नौकरी पाने वाले युवाओं से भारत की यात्रा में सक्रिय भागीदारी निभाने कीअपील की और कहा कि जिस तरह कारोबार की दुनिया में कहा जाता है कि ग्राहक हमेशा सही है, वैसे ही शासन व्यवस्था में मंत्र होना चाहिए कि ‘‘सिटीजनइजऑलवेजराइट’’ यानी ‘‘नागरिक हमेशा सही है।
प्रधानमंत्री ने पिछले साल अक्तूबर में रोजगार मेला योजना की शुरुआत की थी।पहला रोज़गार मेला 22 अक्तूबर, 2022 कोआयोजित किया गया थाऔर 75,000 नए चयनितों को नियुक्ति प्रमाण पत्र सौंपे गए थे।दूसरा मेला 22 नवंबर, 2022 कोआयोजित किया गयाऔरलगभग 71,000 नियुक्ति पत्र सौंपे गए।तीसरे संस्करण में 20 जनवरी, 2023 कोऔर चैाथे में 13 अप्रैल, 2023 को इतने ही नियुक्ति पत्र दिए गए।पांचवां मेला 16 मई 2023 कोआयोजित किया गयाऔर लगभग 70 हजार से ज्यादा नियुक्ति पत्र दिये गये।छठवां मेला 13 जून 2023 कोआयोजित किया गया एवं यहांभी 70 हजार सेअधिक नियुक्ति पत्र दिये गये।
इस छठे आयोजित रोजगार मेले मेें 6 केंद्रीय मंत्री देश के अलग-अलग हिस्सोंसेजुड़ें। वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण चेन्नई से औरमहिला एवं बालविकासमंत्री स्मृतिईरानी लखनऊ से रोजगार मेले से जुड़ीं।वहीं, उद्योगमंत्री महेंद्रनाथ पांडे वाराणसी से, संस्कृति एवं पर्यटनमंत्री जी किशन रेड्डी सिकंदराबाद, जल शक्तिमंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत जोधपुर सेऔररोड ट्रांसपोर्ट मंत्री नितिन गडकरी नागपुर सेकार्यक्रम में शामिल हुए।
निरंतर होते ये रोजगार मेलेअब हमारी वर्तमान सरकार की पहचान बन गए हैं। ये इस बात का सबूत है कि किस तरह हमारी सरकार जो संकल्पलेती है, उसे सिद्ध करके दिखाती है।हाल के वर्षों मेंभर्ती प्रक्रिया मेंव्यापक बदलाव हुआ हैऔरकेंद्रीय सेवाओं मेंभर्ती प्रक्रिया पहले की तुलना में ज्यादा सुव्यवस्थितऔर समयबद्ध बनी है।पारदर्शी तरीके से हो रही भर्ती औरपदोन्नति युवाओं में भरोसा जगाती है,साथ ही ये पारदर्शिता उन्हें बेहतर तैयारी के साथ प्रतियोगिताओं में उतरने के लिए प्रेरित करतीहै।