प्रवासी मजदूरों के बच्चों की पढ़ाई नहीं होगी खराब
केंद्र सरकार ने मजूदरों की मदद के लिए बनाए ई-श्रम पोर्टल पर कई सारे नए फीचर्स अपडेट किए हैं. ये नए फीचर्स खासकर प्रवासी मजदूरों को ध्यान में रखकर तैयार किए गए हैं. इनकी मदद से प्रवासी मजदूरों के परिवार की महिलाओं को कई सरकारी योजनाओं का लाभ मिलेगा, वहीं उनके बच्चों की पढ़ाई-लिखाई भी खराब नहीं होगी.
केंद्रीय श्रम मंत्री भूपेंद्र यादव ने सोमवार को ये नए फीचर्स को पोर्टल पर जोड़े. इसमें प्रवासी मजदूरों के परिवार की डिटेल्स को पोर्टल पर दर्ज करने की सुविधा भी शामिल है.
श्रम मंत्रालय के मुताबिक अब ई-श्रम पोर्टल पर रजिस्टर्ड मजदूरों को रोजगार अवसरों से जुड़ने की सुविधा मिलेगी. इसी के साथ अगर वह अपने कौशल को बढ़ाना चाहते हैं, कहीं पर अप्रेंटिसशसिप करना चाहते हैं, या पेंशन स्कीम, डिजिटल स्किल और सरकारी योजनाओं का फायदा उठाना चाहते हैं तो ई-श्रम पोर्टल के माध्यम से ही इन सबके लिए कनेक्ट कर सकते हैं.
इतना ही नहीं ई-श्रम पोर्टल पर अब यूटिलिटी की सुविधाओं को बढ़ाया गया है. खासकर अनऑर्गनाइज्ड सेक्टर के मजदूरों के लिए रजिस्ट्रेशन आसान बनाया गया है.
प्रवासी मजदूरों के परिवार की डिटेल्स होगी दर्ज
अब ई-श्रम पोर्टल पर प्रवासी मजदूरों के परिवार की जानकारी को दर्ज किया जाएगा. इस फीचर के माध्यम से उनके बच्चों को शिक्षा देने में मदद मिलेगी. वहीं महिलाओं के लिए चलाई जा रही सरकारी योजनाओं के माध्यम से उनके परिवार की मदद की जाएगी. वहीं उन प्रवासी मजदूरों को भी इस फीचर का फायदा होगा जो पूरे परिवार के साथ ही अपना गांव या निवास छोड़ चुके हैं.
कंस्ट्रक्शन मजदूरों को मिलेगा योजनाओं को लाभ
ई-श्रम पोर्टल पर एक और नया फीचर कंस्ट्रक्शन वर्कर्स के डेटा शेयरिंग का जोड़ा गया है. इस डेटा को कंस्ट्रक्शन मजदूरों के वेलफेयर के लिए काम करने वाले बोर्ड्स के साथ शेयर किया जाएगा. मजदूरों को उनके संबंधित कल्याण बोर्ड के साथ रजिस्टर कराया जाएगा, ताकि उन तक सरकारी योजनाओं का लाभ पहुंच सके.
इसी के साथ एक डेटा शेयरिंग पोर्टल भी लॉन्च किया गया है, जो ई-श्रम डेटा को राज्य सरकारों और केंद्र शासित प्रदेशों के प्रशासन के साथ साझा करने के काम आएगा. इस डेटा की मदद से राज्य सरकारों और केंद्र शासित प्रदेशों को मजदूरों के लिए उपयुक्त योजनाएं, सामाजिक सुरक्षा स्कीम वगैरह बनाने में मदद मिलेगी.
श्रम और रोजगार मंत्रालय ने 26 अगस्त 2021 को ई-श्रम पोर्टल की शुरुआत की थी. इसका मकसद देश के असंगठित मजदूरों का एक नेशनल डेटाबेस बनाना है. इस पर रजिस्टर मजदूरों की संख्या 28.87 करोड़ से अधिक है.